नमस्कार दोस्तों, इस लेख में हम जानेंगे कि ट्रांसफार्मर की दक्षता (Efficiency of Transformer) क्या होती है? इसे किस प्रकार ज्ञात किया जायेगा? तथा कितने प्रकार के परीक्षण किये जाते हैं?
माना कोई ट्रांसफार्मर किसी भार को वोल्टेज V2 पर धारा I2 प्रदान करता है। यदि भारत का शक्ति गुणन cosQ है तब
आउटपुट शक्ति = V2I2 cosQ
ताम्र हानियां = I²2R02 = I²1R01
लौह हानियां = Pi
अतः n = आउटपुट शक्ति × 100 /(आउट पुट शक्ति + हानियां)
= V2I2 cosQ ×100 / (V2I2 cosQ + I²2R02 + Pi
ट्रांसफार्मर की उच्चतम दक्षता (Maximum Efficiency of Transformer)
ट्रांसफार्मर की उच्चतम दक्षता तब प्राप्त होती है जब ट्रांसफार्मर की ताम्र हानियां (PC) का मान लौह हानियों (Pi) के तुल्य होता है अर्थात्
Pi = I²2R02 या I2 = √(Pi/R02)
ट्रांसफार्मर की पूर्ण दिवस दक्षता (All Day Efficiency of Transformer)
ट्रांसफार्मर पर प्राय: भार परिवर्तन होता है। यदि किसी समय सेकेंडरी वाइंडिंग पर भार शून्य भी हो तब भी प्राइमरी कुंडली उत्सर्जित (Enegised) रहती है। अतः ट्रांसफार्मर द्वारा 24 घण्टे में आउटपुट एवं इनपुट के आधार पर उसकी पूर्ण दिवस दक्षता ज्ञात की जा सकती है। यह निम्न प्रकार प्रदर्शित की जाती है –
पूर्ण दिवस दक्षता = 24 घण्टों में KW आउटपुट/24 घण्टों में KW इनपुट
ट्रांसफार्मर की दक्षता ज्ञात करने हेतु परीक्षण (Test to determine efficiency of transformer)
प्रयोगशाला में ट्रांसफार्मर की दक्षता ज्ञात करने हेतु निम्न परीक्षण किये जाते हैं –
- खुला परीक्षण (Open circuit Test)
- लघु-परिपथ परीक्षण (Short circuit Test)
उपरोक्त परीक्षणों से ट्रांसफार्मर के पेरामीटर R01, R02, X01, X02 कोर हानियां एवं शून्य भार धारा I0 ज्ञात की जाती है।
खुला परिपथ परीक्षण (Open Circuit Test)
चित्र में ट्रांसफार्मर पर करने हेतु परिपथ प्रदर्शित किया गया है। इस परीक्षण से ट्रांसफार्मर की शून्य भार धारा एवं कोर हानियां ज्ञात की जाती हैं। वाट मीटर का पाठयांक ट्रांसफार्मर की कोर (लौह) हानियों को प्रदर्शित करता है। परीक्षण के समय सेकेंडरी को खुला रखा जाता है तथा प्राइमरी कुंडली को ट्रांसफार्मर की निर्धारित (Rated) वोल्टेज दी जाती है।
यदि प्रयुक्त वोल्टेज V1, एमीटर का पाठयांक I0 तथा वाटमीटर का पाठयांक W0 है तब,

ट्रांसफार्मर में कोर हानियां = W0
So, W0 = V1I0 cosΦ0
Or cosΦ0 = W0/V1I0
So चुम्बकन धारा Iu = I0 sinΦ0
So क्रियाशील धारा Iw = I0cosΦ0
एवं R0 = V1/Oω
तथा X0 = V1/Iμ
लघु परिपथ परीक्षण (Short Circuit Test)
इस परीक्षण द्वारा ट्रांसफार्मर की ताम्र हानियां ज्ञात की जाती है। परीक्षण के समय सेकेंडरी वाइंडिंग (प्राय: निम्न वोल्टेज साइज) को एक निम्न प्रतिरोध के मोटे चालक तार द्वारा लघुपथित (Short circuit) कर दिया जाता है। प्राइमरी कुंडली में निर्धारित वोल्टेज का लगभग 5% से 10% तक वोल्टेज दी जाती है तथा प्रयुक्त वोल्टेज को ट्रांसफार्मर की पूर्ण भार धारा के लिए समायोजित किया जाता है। यदि वाटमीटर पाठयांक WC प्रयुक्त वोल्टेज VS एवं धारा IS हो तब

पूर्ण भार पर ताम्र हानियां = Wc
So, WC = VSIS cosΦsc
वाट मीटर का पाठयांक WC पूर्ण भार पर ट्रांसफार्मर की समस्त ताम्र हानियों को प्रदर्शित करता है। इस परीक्षण में लौह हानियां अत्यंत सूक्ष्म होती हैं जिन्हें नगण्य माना जाता है। ट्रांसफार्मर की तुल्य प्रतिबाधा निम्न प्रकार ज्ञात की जा सकती है –
Z01 = VsIs
तुल्य प्रतिरोध R01 = Z01 cosΦsc
तुल्य प्रतिघात X01 = Z01 SinΦsc
उपरोक्त पेरामीटर ज्ञात होने पर किसी भार धारा I2 एवं शक्ति गुणन cosΦ पर ट्रांसफार्मर की दक्षता निम्न सूत्र से ज्ञात की जा सकती है।
η % = (V2I2 cosΦ) × 100/(V2I2 cosΦ + WC + Wi)
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